कोयला मंत्रालय 5 दिसंबर 2024 को नई दिल्ली में वाणिज्यिक कोयला खदानों की नीलामी का 11वां दौर शुरू करने जा रहा है। इसका मतलब है कि निजी कंपनियां इन खदानों को खरीदकर कोयला निकाल सकेंगी। इससे देश में कोयले की उपलब्धता बढ़ेगी और बिजली उत्पादन को बढ़ावा मिलेगा। यह नीलामी भारत सरकार की ‘आत्मनिर्भर भारत’ योजना का हिस्सा है, जिसका उद्देश्य देश को ऊर्जा के क्षेत्र में आत्मनिर्भर बनाना है।
मुख्य जानकारी :
- यह नीलामी कोयला क्षेत्र में निजी कंपनियों की भागीदारी को बढ़ावा देगी।
- इससे कोयले का उत्पादन बढ़ेगा और बिजली उत्पादन, स्टील उत्पादन और सीमेंट उत्पादन जैसे उद्योगों को फायदा होगा।
- इससे रोजगार के अवसर भी पैदा होंगे और देश के आर्थिक विकास को गति मिलेगी।
निवेश का प्रभाव :
- कोयला खनन से जुड़ी कंपनियों के शेयरों में तेजी आ सकती है।
- बिजली उत्पादन, स्टील और सीमेंट कंपनियों को भी इसका फायदा हो सकता है, क्योंकि कोयला इन उद्योगों के लिए एक महत्वपूर्ण कच्चा माल है।
- निवेशकों को कोयला क्षेत्र और संबंधित उद्योगों पर नजर रखनी चाहिए और सोच-समझकर निवेश करना चाहिए।
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