पूनावाला फिनकॉर्प ने हाल ही में घोषणा की है कि वह अपनी उधारी सीमा को 25,000 करोड़ रुपये से बढ़ाकर 50,000 करोड़ रुपये कर रही है। यह कंपनी के लिए एक बड़ा कदम है क्योंकि इससे उन्हें अपने कारोबार का विस्तार करने और ज्यादा लोगों को कर्ज देने में मदद मिलेगी। पूनावाला फिनकॉर्प मुख्य रूप से उपभोक्ता और MSME (सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यम) क्षेत्रों को कर्ज देती है। यह कदम कंपनी के विकास और बाजार में उसकी स्थिति को मजबूत करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है।
मुख्य जानकारी :
- उधारी सीमा दोगुनी होने से पूनावाला फिनकॉर्प के पास अब और अधिक पैसा उपलब्ध होगा जिससे वह अपने कर्ज देने के कारोबार को बढ़ा सकती है।
- इससे कंपनी को नए ग्राहकों तक पहुंचने और बाजार में अपनी हिस्सेदारी बढ़ाने में मदद मिल सकती है।
- यह कदम कंपनी के भविष्य में विकास और मुनाफे की संभावनाओं को दर्शाता है।
निवेश का प्रभाव :
- पूनावाला फिनकॉर्प के शेयरों में निवेश करने वाले निवेशकों के लिए यह एक सकारात्मक संकेत हो सकता है।
- बढ़ी हुई उधारी सीमा कंपनी की आय और मुनाफे में वृद्धि कर सकती है, जिससे शेयर की कीमतों में बढ़ोतरी हो सकती है।
- हालांकि, निवेशकों को कंपनी के प्रदर्शन और बाजार की स्थिति पर नजर रखनी चाहिए।
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